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जलवायु परिवर्तन: धरती के लिए खतरा

जलवायु परिवर्तन आज एक वैश्विक संकट बन चुका है। बर्फ के पिघलने और समुद्र स्तर के बढ़ने से न केवल प्राकृतिक आपदाओं का खतरा बढ़ रहा है, बल्कि मानव जीवन भी खतरे में पड़ रहा है। इसे रोकने के लिए सभी देशों को मिलकर काम करने की जरूरत है, ताकि आने वाली पीढ़ियों के लिए एक सुरक्षित और स्थिर पर्यावरण सुनिश्चित किया जा सके।जलवायु परिवर्तन आज एक वैश्विक संकट बन चुका है। बर्फ के पिघलने और समुद्र स्तर के बढ़ने से न केवल प्राकृतिक आपदाओं का खतरा बढ़ रहा है, बल्कि मानव जीवन भी खतरे में पड़ रहा है। इसे रोकने के लिए सभी देशों को मिलकर काम करने की जरूरत है, ताकि आने वाली पीढ़ियों के लिए एक सुरक्षित और स्थिर पर्यावरण सुनिश्चित किया जा सके।जलवायु परिवर्तन आज एक वैश्विक संकट बन चुका है। बर्फ के पिघलने और समुद्र स्तर के बढ़ने से न केवल प्राकृतिक आपदाओं का खतरा बढ़ रहा है, बल्कि मानव जीवन भी खतरे में पड़ रहा है। इसे रोकने के लिए सभी देशों को मिलकर काम करने की जरूरत है, ताकि आने वाली पीढ़ियों के लिए एक सुरक्षित और स्थिर पर्यावरण सुनिश्चित किया जा सके।जलवायु परिवर्तन आज एक वैश्विक संकट बन चुका है। बर्फ के पिघलने और समुद्र स्तर के बढ़ने से न केवल प्राकृतिक आपदाओं का खतरा बढ़ रहा है, बल्कि मानव जीवन भी खतरे में पड़ रहा है। इसे रोकने के लिए सभी देशों को मिलकर काम करने की जरूरत है, ताकि आने वाली पीढ़ियों के लिए एक सुरक्षित और स्थिर पर्यावरण सुनिश्चित किया जा सके।

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